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Saturday, November 15, 2025

हाई LDL कोलेस्ट्रॉल से हैं परेशान? इन 5 ‘सीड्स’ को अपनी डाइट में शामिल करें, हार्ट रहेगा हेल्दी

आजकल हमारी जीवनशैली, खान-पान और बढ़ते तनाव की वजह से हाई कोलेस्ट्रॉल यानी विशेषकर ‘बैड’ कोलेस्ट्रॉल (LDL) आम समस्या बन गई है। यह न सिर्फ हार्ट डिजीज बल्कि स्ट्रोक जैसे जोखिमों को भी बढ़ा सकती है। लेकिन अच्छी खबर यह है कि छोटे-छोटे आहार-चयन से इस समस्या को नियंत्रित करना संभव है। ऐसा ही एक असरदार उपाय है — कुछ चयनित सीड्स को नियमित रूप से अपनी डाइट में शामिल करना, क्योंकि इनमें सॉल्युबल फाइबर, ओमेगा-3 फैटी एसिड और पौधे-आधारित अच्छे फैट्स पर्याप्त मात्रा में होते हैं।

नीचे हम पाँच ऐसे सीड्स का उल्लेख कर रहे हैं, जिन्हें दिन-प्रतिदिन खाकर आप अपने LDL कोलेस्ट्रॉल को कम करने तथा दिल की सेहत को बेहतर बनाने में मदद कर सकते हैं:

  1. फ्लैक्ससीड (अलसी के बीज)
    इसमें ओमेगा-3 फैटी एसिड का अच्छा स्रोत है जो शरीर में सूजन (इनफ्लेमेशन) को कम करता है। साथ ही फ्लैक्ससीड में मौजूद सॉल्युबल फाइबर और लिगनन्स बैड कोलेस्ट्रॉल के अवशोषण को रोकने में मदद करते हैं।

  2. चिया सीड्स
    चिया बीज पोषक तत्वों का खजाना हैं—सॉल्युबल फाइबर, ओमेगा-3 फैटी एसिड आदि। जब इन्हें भिगोया जाता है तो जेल जैसा बनावट ले लेते हैं और पाचन धीमा होता है, जिससे कोलेस्ट्रॉल का अवशोषण कम हो जाता है।

  3. पंपकिन सीड्स (कद्दू के बीज)
    कद्दू के बीज मैग्नीशियम, एंटीऑक्सीडेंट्स तथा हेल्दी फैट्स से भरपूर हैं। इनमें फाइटोस्टेरॉल्स होते हैं, जो आंत में कोलेस्ट्रॉल के अवशोषण को कम करते हैं और रक्त में फैट्स के संतुलन को बेहतर बनाते हैं।

  4. तिल के बीज
    तिल बीज में लिगनन्स और फाइटोस्टेरॉल्स जैसे पौधे-आधारित तत्व पाए जाते हैं, जो कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रण में रखने में मदद करते हैं। साथ ही ये अच्छे फैट्स व एंटीऑक्सीडेंट्स का भी स्रोत हैं, जो धमनियों व दिल की सेहत के लिए लाभदायक हैं।

  5. हेम्फ सीड्स
    हेम्फ सीड्स प्लांट-बेस्ड प्रोटीन का बेहतरीन स्रोत हैं तथा इनमें ओमेगा-3 व ओमेगा-6 फैटी एसिड भी पर्याप्त मात्रा में मिलता है। ये आवश्यक फैट्स दिल की सेहत के सुधार में मदद करते हैं, सूजन को कम करते हैं और गुड कोलेस्ट्रॉल (HDL) बढ़ाने में योगदान देते हैं।

कैसे उपयोग करें:

  • इन सीड्स को अपनी नाश्ते की रूटीन में शामिल करें, जैसे दलिया, स्मूदी, सलाद या दही के साथ।

  • पूरी तरह तारी-बिना रोस्ट या हल्की भुनी अवस्था में डालना बेहतर है, ताकि पोषक तत्व सुरक्षित रहें।

  • मात्रा का ध्यान रखें—अगर पहले से कोलेस्ट्रॉल या अन्य स्वास्थ्य-समस्याएँ हैं, तो चिकित्सक से सलाह ज़रूर लें।

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