मुख्यमंत्री स्कूल ऑफ एक्सीलेंस एसएस बालिका उच्च विद्यालय को मिला प्रथम पुरस्कार

बिरसा भूमि लाइव

गुमला : उपायुक्त कर्ण सत्यार्थी के निर्देश के आलोक में जिले में संचालित “सिकछा कर भेंट” (गिफ्ट ऑफ एजुकेशन) गतिविधि के तहत आज बुधवार को औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान सिलम गुमला में झारखंड शिक्षा परियोजना गुमला के तत्वाधान में जिला स्तरीय स्क्रैच कोडिंग प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। प्रतियोगिता में विभिन्न कोटि के सरकारी विद्यालयों से कुल 32 विद्यालयों के 96 छात्र-छात्राओं ने भाग लिया।

मौके पर मुख्य अतिथि के रूप में भारत सरकार के जलशक्ति मंत्रालय निदेशक एन अशोक बाबू (भा.प्र.से.) एवं विशिष्ट अतिथि के रूप में उपायुक्त गुमला कर्ण सत्यार्थी (भा.प्र.से.), उप विकास आयुक्त गुमला (भा.प्र.से.), सीआरपीएफ कमांडेंट, सेकंड आईसी सीआरपीएफ एवं जिला परिवहन पदाधिकारी मौजूद रहें। प्रतियोगिता के दौरान सभी मुख्य अतिथि एवं विशिष्ट अतिथियों ने विद्यार्थियों के परीक्षा हॉल का अवलोकन किया एवं बच्चों द्वारा किए जा रहे कंप्यूटर कोडिंग को देखा। प्रतियोगिता के पश्चात परिणाम की घोषणा की गई एवं सभी विजेताओं को अतिथियों द्वारा सम्मानित करते हुए पुरस्कृत किया गया।

जिला स्तरीय स्क्रेच कोडिंग प्रतियोगिता के परिणाम : इस प्रतियोगिता में प्रथम स्थान मुख्यमंत्री स्कूल ऑफ एक्सीलेंस एस एस बालिका उच्च विद्यालय गुमला, द्वितीय स्थान सन्त तुलसीदास +2 उच्च विद्यालय सिसई एवं तृतीय स्थान में रा.उत्क्रमित उच्च विद्यालय प्रखण्ड मुख्यालय, सिसई ने प्राप्त किया। इस दौरान सभी सम्बन्धित विद्यालय के आईसीटी लैब के लिए पुरस्कार के साथ-साथ सम्बन्धित ICT इंस्ट्रक्टर तथा प्रतिभागी तीन बच्चों की टीम को मोमेंटो देते हुए पुरस्कृत किया गया। इसके अतिरिक्त भाग लेने वाले सभी 32 विद्यालयों के 3-3 बच्चों की टीम को प्रमाण पत्र देकर पुरस्कृत किया गया।

मुख्य अतिथि ने विद्यार्थियों को प्रेरणादाई किताबो को पढ़ने हेतु किया प्रेरित : मौके पर मुख्य अतिथि के रूप में मौजूद भारत सरकार के जलशक्ति मंत्रालय निदेशक एन अशोक बाबू (भा.प्र.से.) ने उपस्थित बच्चों को इंग्लिश सीखने एवं नियमित किताबों तथा अखबार पढ़ने के लिए प्रेरित किया, उन्होंने कहा कि कक्षा के किताबों को रीड करें न की परीक्षा के लिए गाइड का उपयोग करें। अच्छे रीडिंग स्किल से ही एक व्यक्ति के विचारों का निर्माण होता है। इस दौरान उन्होंने उपायुक्त कर्ण सत्यार्थी द्वारा प्रारंभ किए इस “सिकछा कर भेंट गतिविधि” के तहत बच्चों के स्किल डेवलपमेंट के क्षेत्र में किए जा रहे प्रयासों की सराहना की। उन्होंने विद्यार्थियों को इस बेहतर अवसर का फायदा उठाते की सलाह भी दी।

किसी भी क्षेत्र में साक्षरता हासिल करने के लिए कौशल विकास करना है जरूरी : उपायुक्त : उपायुक्त कर्ण सत्यार्थी ने अपने संबोधन में कहा कि किसी भी क्षेत्र में आगे बढ़ने के लिए कुशल होना एवं अपना कौशल विकास करना बेहद आवश्यक है। उन्होंने बताया कि इस 45 दिवसीय स्क्रैच कोडिंग/कंप्यूटर कोडिंग कोर्स का मुख्य उद्देश्य बच्चों का कंप्यूटर कोडिंग के क्षेत्र में रुचि जागृत करना है। उन्होंने प्रतियोगिता में भाग लेने वाले बच्चों के द्वारा 45 दिनों में स्क्रैच कोडिंग सिख कर बनाए गए कंप्यूटर एप्लीकेशन की सराहना की। उन्होंने कहा कि यह एक शुरुआत है आगे भी इस प्रकार के गतिविधि से बच्चों के स्किल डेवलपमेंट एवं शिक्षा के स्तर को बेहतर बनाने का प्रयास किया जाएगा।

जिला शिक्षा अधीक्षक ने “सिकछा कर भेंट गतिविधि ” एवं स्क्रैच कोडिंग से संबंधित दी जानकारी : इस दौरान जिला शिक्षा अधीक्षक मोहम्मद वसीम अहमद ने जिले में संचालित “सिकछा कर भेंट” गतिविधि एवं इसके अंतर्गत बच्चों के स्किल डेवलपमेंट से जुड़े मुख्य तथ्यों से सभी को अवगत कराया। उन्होंने बताया इस गतिविधि के तहत जिले के सभी वरीय अधिकारियों को उच्च विद्यालयों से टैग किया गया एवं उनके द्वारा विद्यालयों को मॉनिटर करते हुए शिक्षा के गुणवत्ता को बेहतर बनाने का प्रयास किया जा रहा है। वहीं दूसरी ओर बच्चों को कोडिंग के प्रति प्रेरित करने के उद्देश्य से उपायुक्त के निर्देश के आलोक में जिले के चिन्हित 33 आईसीटी लैब के आईसीटी ट्रेनर को प्रशिक्षित किया गया था जिनके द्वारा सभी 33 विद्यालयों के बच्चों को 45 दिनों तक कंप्यूटर कोडिंग/स्क्रैच कोडिंग का प्रशिक्षण दिया गया।जिसके तहत आज जिला स्तरीय स्क्रैच कोडिंग प्रतियोगिता का आयोजन किया गया है। उन्होंने बताया कि यह एक पायलट प्रोजेक्ट है जल्द ही जिले के सभी विद्यालयों में भी स्क्रैच कोडिंग सिखाई जाएगी।

कार्यक्रम के दौरान आईटीआई दुमका के प्रशिक्षक कौशल किशोर पांडेय द्वारा कोडिंग सिखाया गया था जिन्हें मोमेंटो देकर सम्मानित किया गया।

शिक्षा विभाग द्वारा आयोजित इस कार्यक्रम का संचालन जिला शिक्षा अधीक्षक, गुमला द्वारा किया गया जिसमें मुख्य सहायक नोडल पदाधिकारी दिलदार सिंह रहें।सोनाली त्रिपाठी एवं पुष्पा टोप्पो द्वारा मंच संचालन किया गया जबकि रामचन्द्र सिंह द्वारा तकनीकी व्यवस्था संचालन किया गया।

झारखण्ड शिक्षा परियोजना गुमला से इस कार्यक्रम को सफल बनाने में पीयूष कुमार, शमशाद अली, सूफिया खान, नीरज कुमार, लाल चन्द्रशेखरनाथ शाहदेव, ओमप्रकाश, तारा, राजदीप, सुजीत आदि मौजूद थे।

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